(रशीद क़ुरैशी)
महोबा: देश के अन्नदाता एक बार फिर प्रशासनिक अत्याचार का शिकार हुए हैं। महोबा के एआरटीओ दयाशंकर ने अनाज मंडी में मूँगफली बेचने आ रहे किसानों के ट्रैक्टरों पर भारी-भरकम चालान काट दिए। किसानों पर 35 हजार से 50 हजार रुपये तक का जुर्माना लगाया गया, जिससे पहले से ही महंगाई और कर्ज के बोझ तले दबे किसानों की कमर टूट गई है।
इस अप्रत्याशित कार्यवाही से नाराज मंडी के व्यापारियों ने किसानों का समर्थन करते हुए मूँगफली खरीदना बंद कर दिया है। व्यापारियों का कहना है कि एआरटीओ की यह कार्यवाही केवल किसानों पर आर्थिक भार डालने का जरिया है। अगर यह कार्यवाही नहीं रुकी, तो उन्होंने कल से मंडी को पूरी तरह बंद कर अनिश्चितकालीन हड़ताल का ऐलान किया है।
किसानों ने एआरटीओ द्वारा काटे गए चालान को तत्काल वापस लेने की मांग की है। उनका कहना है कि सरकार और प्रशासन पहले ही फसल के उचित दाम नहीं दे पा रहे हैं, ऊपर से इस तरह की कार्यवाही किसानों के लिए विनाशकारी साबित हो रही है।
मंडी के व्यापारियों और किसानों ने एकजुट होकर एआरटीओ दयाशंकर के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। उनका कहना है कि किसानों को परेशान करना बंद किया जाए और एआरटीओ की कार्यशैली पर सवाल उठाए जा रहे हैं।
जल्द ही इस मामले में प्रशासन को चाहिए कि वह इस मामले को गंभीरता से लेते हुए किसानों के चालान रद्द करे और एआरटीओ दयाशंकर पर उचित कार्रवाई सुनिश्चित करे। अगर जल्द ही कोई समाधान नहीं निकला, आने बाला समय किसानों के लिए और भी विकराल समस्या बन सकता है।