(रशीद क़ुरैशी)
महोबा में कोचिंग संचालकों द्वारा अन्य राज्यों और जिलों में
फायर सेफ्टी ना होने पर कोचिंग सेंटरों में हो चुकी मौत की घटनाओं से भी सबक नहीं लिया जा रहा है।आपको बता दे कि महोबा में रामकथा मार्ग पर लंबे समय से सैंकड़ो की तादाद में अवैध तरीक़े से संचालित हो रहे कोचिंग सेंटरों पर विभागीय जिम्मेदारों द्वारा नकेल न कस पाना उनके हौसले बुलंद किये हुए है। फायर सेफ्टी के नाम पर किसी भी कोचिंग संचालक ने अपनी कोचिंग इन फायर उपकरणों को लगाना मुनासिब नही समझा जिससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि किस तरह ये अवैध रूप से कोचिंग संचालन करते हुए बच्चों की जिंदगी के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं। अपनी मनमानी पर आमादा कोचिंग संचालक सरकार की गाइडलाइन को ठेंगा दिखाते हुए छात्र-छात्राओं की जिंदगी के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं ।संबंधित विभाग यह सब जानकर भी अनजान बना हुआ है और कोचिंग संचालक निरंतर सरकार के नियमों को ठेंगा दिखा रहे हैं आपको बता दें कि परीक्षाओं में बेहतर अंक प्राप्त करने और कोर्स पूर्ण करने के लिए छात्र छात्राओं द्वारा कोचिंग सेंटरों का सहारा लेना पड़ता है। ऐसे में कोचिंग संचालकों द्वारा छात्र-छात्राओं व उनके अभिभावकों की मजबूरी का जमकर फायदा उठा रहे हैं। कोचिंग के संचालन में नियम कानून को धता बताते हुए खुद के बनाये हुए नियमों का पालन कराया जाता है। प्रभारी फायर सर्विस अधिकारी देवेश तिवारी ने बताया किसी भी कोचिंग सेंटर में फायर सेफ्टी उपकरण नहीं लगे है ना विभाग में उनका पंजीकरण है। उन्होंने कहा कि इस मामले को लेकर विभाग को कई बार पत्राचार किया जा चुका है। अब देखना ये होगा कि क्या अवैध तरीके से शहर में संचालित हो रहे कोचिंग सेंटरों पर कड़ी कार्यवाही होगी या फिर यूँ ही छात्र -छात्राओं की जान जोखिम मे बनी रहेगी।